Tag : Love Shayari

Mir Taqi Mir

‘बेटा इश्क़ करो, इश्क़’ कितना बदला था पिता की इस नसीहत से मीर का जीवन

किशोरावस्था में ही मिल जाने वाले इश्क़ के सबक़ को लेकर मीर उम्र भर जीते रहे। उनकी ज़िंदगी का कोई काम इश्क़ के शोर और वलवले से ख़ाली नहीं था। उन्होंने न सिर्फ़ पिता से ये नसीहतें सुनी थीं बल्कि इश्क़ में शराबोर उनके जीवन का नज़ारा भी किया था।

शायरी अक्सर हमारा काम आसान बना देती है

अगर उर्दू शायरी में हम मोहब्बत की बात करें तो ऐसा नहीं हो सकता कि हमारे ज़ेहन में ‛‛बशीर बद्र’’ साहब का नाम न आए। आज की इस रफ़्तार-भरी ज़िन्दगी में बशीर बद्र साहब के अशआर हमें ठहरना सिखाते हैं, हमारे अंदर मोहब्बत के जज़्बात पैदा करते हैं। उन्होंने लगभग हर उम्र के लोगों पर अपनी शायरी की ख़ुश्बू को बिखेरा है और मोहब्बत के नए रंगों से मिलवाया है।

Nasir Kazmi Blog

नासिर काज़मी ज़िन्दगी भर अपनी धरती अंबाला को याद करते रहे

नासिर के यहाँ रात बेहद वसीअ है। रात के मुख़्तलिफ़ पहलू उनकी शायरी में मौजूद हैं। कहा जाता है कि वो सारी सारी रात जागते रहते, और जब पौ फटती, परिंदे चहचहाना शुरू करते तब जा कर उनकी आँखों में नींद का कोई निशान नज़र आता।

साहिर, जो हर इक पल का शाइर है

साहिर की रेंज इतनी व्यापक है कि उनके लोकप्रिय गीतों की चमक में उनके बहुत से उल्लेखनीय गीत कहीं पीछे छूट गए हैं। साहिर मुखर होते थे मगर कभी लाउड नहीं होते थे। वे गहरी बात कह जाते मगर दुरूह बनकर नहीं, बड़ी सरलता से जाने दुनिया और मन की किन गहराइयों को बयान कर जाते थे। यहाँ पर हम उनके कुछ ऐसे ही गीतों की चर्चा करेंगे जिनके बारे में अक्सर बात नहीं होती है।

Ahmad Faraz

जब रिटायर्ड जनरल बोले ‘फ़राज़ तुम बाज़ नहीं आते, मैं तुम्हें देख लूँगा’

फ़राज़ रिहाई के बाद ऑफ़िस में बैठे थे कि फ़ोन की घंटी बजने लगी। उधर से आवाज़ आई, “वज़ीर-ए-आज़म आपसे बात करना चाहते हैं। भुट्टो फ़ोन पर आते ही बोले, ”फ़राज़ दिस इज़ मी, दिस टाइम आई सेवड योर लाईफ़। दे वांट टू ट्राई यू।”

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